“एक पेड़ माँ के नाम” अभियान के अंतर्गत रानी लक्ष्मीबाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय में हुआ भावनात्मक पौधारोपण कार्यक्रम
झाँसी। उत्तर प्रदेश सरकार के प्रेरणास्पद अभियान “एक पेड़ माँ के नाम” के दूसरे चरण के अंतर्गत रानी लक्ष्मीबाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय, झाँसी के उद्यानिकी एवं वानिकी महाविद्यालय में आज एक भावनात्मक एवं प्रेरणादायक पौधारोपण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस आयोजन ने न केवल पर्यावरण संरक्षण को बल दिया, बल्कि मातृत्व के सम्मान से जुड़े गहरे भावनात्मक पक्ष को भी उजागर किया।
🌿 कुलपति प्रो. अशोक कुमार सिंह ने किया शुभारंभ
कार्यक्रम का शुभारंभ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. अशोक कुमार सिंह द्वारा एक पौधा रोपित कर किया गया। उन्होंने उपस्थित छात्रों, शिक्षकों एवं कर्मचारियों को संबोधित करते हुए कहा:
“प्रकृति हमारी माँ समान है और जब हम अपनी जन्मदात्री माँ के नाम पर एक वृक्ष लगाते हैं, तो हम धरती माँ को भी सम्मान अर्पित करते हैं। यह अभियान न केवल पर्यावरणीय उत्तरदायित्व है, बल्कि एक भावनात्मक जागरूकता भी है।”
🌱 विशिष्ट अतिथियों ने साझा किए अपने विचार
अधिष्ठाता डॉ. मनीष श्रीवास्तव ने कार्यक्रम में कहा कि यह अभियान समाज को प्रकृति से जोड़ने की एक सशक्त कड़ी है। उन्होंने कहा:
“जलवायु परिवर्तन जैसी गंभीर चुनौतियों के समाधान में ऐसे जनांदोलन अत्यंत सहायक सिद्ध हो सकते हैं।”
वहीं, वानिकी विभागाध्यक्ष डॉ. एम.जे. डोबरियाल ने वृक्षों की जैव विविधता, औषधीय गुणों तथा उनके सामाजिक-आर्थिक महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा:
“वृक्ष केवल पर्यावरण का हिस्सा नहीं हैं, बल्कि ये मानव जीवन की आधारशिला हैं।”
🌿 छात्रों, कर्मचारियों और अधिकारियों की सामूहिक सहभागिता
इस अवसर पर विश्वविद्यालय के सभी विभागों के वरिष्ठ अधिकारीगण, संकाय सदस्य, बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं एवं कर्मचारी उपस्थित रहे। सभी ने मिलकर स्थानीय पर्यावरण के अनुरूप अमरूद, आंवला, नीम, पीपल, गुलमोहर और सहजन जैसे पौधों का सामूहिक रूप से रोपण किया।
🌳 हरित संकल्प और भावनात्मक जुड़ाव
कार्यक्रम के समापन पर सभी प्रतिभागियों ने वृक्षारोपण को सतत रूप से अपनाने, पर्यावरण की सुरक्षा करने तथा हरित भविष्य का निर्माण करने की शपथ ली। इस कार्यक्रम ने यह स्पष्ट संदेश दिया कि:
“वृक्षारोपण केवल एक औपचारिक प्रक्रिया नहीं, बल्कि एक पीढ़ियों को समर्पित भावनात्मक उत्तरदायित्व है।”
🌿 हरित भविष्य की ओर अग्रसर विश्वविद्यालय
यह आयोजन विश्वविद्यालय की उस सकारात्मक सोच और प्रतिबद्धता को दर्शाता है, जिसके माध्यम से वह “हरित भविष्य की ओर एक कदम” जैसे अभियानों को मूर्त रूप दे रहा है। रानी लक्ष्मीबाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय ने एक बार फिर यह साबित किया है कि वह केवल शैक्षणिक उत्कृष्टता तक सीमित नहीं, बल्कि सामाजिक और पर्यावरणीय उत्तरदायित्व में भी अग्रणी है।
“एक पेड़ माँ के नाम” केवल एक अभियान नहीं, बल्कि मातृत्व के प्रति सम्मान, पर्यावरण के प्रति जिम्मेदारी और समाज के प्रति भावनात्मक जुड़ाव का प्रतीक बन चुका है। उत्तर प्रदेश सरकार की इस अभिनव पहल ने न केवल वृक्षारोपण को एक सामाजिक आंदोलन का रूप दिया है, बल्कि इसे भावनात्मक चेतना से भी जोड़ा है। जब कोई व्यक्ति अपनी माँ के नाम एक पौधा लगाता है, तो वह धरती माँ के संरक्षण और भावनात्मक उत्तरदायित्व की एक नई मिसाल पेश करता है। इस अभियान ने वृक्षारोपण को औपचारिकता से आगे ले जाकर एक आत्मिक कर्तव्य में परिवर्तित कर दिया है।
रिपोर्ट – राहुल कोष्टा – 7052014871